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Product Description
तल्ख़ियां साहिर लुधियानवी की सबसे पहली किताब थी और इसमें 67 गीत और ग़ज़लें हैं। कॉलेज के दिनों से ही साहिर ने शायरी शुरू कर दी थी और लोग इसे पसन्द भी करने लगे थे, लेकिन उनकी अलग पहचान तल्ख़ियां के प्रकाशन से ही बनने लगी। उर्दू में लिखी यह किताब बहुत लोकप्रिय हुई और इसके कई संस्करण छपे। 1958 में इसका हिन्दी रूपान्तर राजपाल एण्ड सन्ज़ से प्रकाशित हुआ। साहिर के चाहने वाले पाठकों की माँग पर अब इसका नया संस्करण प्रस्तुत है। साहिर लुधियानवी को उनकी शायरी के लिए तो याद किया ही जाएगा लेकिन साथ ही उन्हें हिन्दी सिनेमा में गीतों को एक नई पहचान और मुकाम देने के लिए भी हमेशा याद रखा जायेगा। लुधियाना के एक मुस्लिम परिवार में जन्मे साहिर लुधियानवी का असली नाम अब्दुल हयी था। कॉलेज की शिक्षा के बाद वे लुधियाना से लाहौर चले गए और उर्दू पत्रिकाओं में काम करने लगे। जब एक विवादग्रस्त बयान के कारण पाकिस्तान सरकार ने उनकी ग़िरफ़्तारी के वारन्ट निकाले तो 1949 में लाहौर छोड़ कर साहिर भारत आ गये और मुंबई में अपना ठिकाना बनाया। हिन्दी सिनेमा की दुनिया के वे बेहद लोकप्रिय गीतकार साबित हुए और दो बार उन्हें फ़िल्मफ़ेयर अवार्ड से नवाज़ा गया। उनके फ़न की क़दर करते हुए भारत सरकार ने 1971 में उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया। 1980 में 59 साल की उम्र में साहिर लुधियानवी की मृत्यु हो गई।
Product Details
Title: | Talkhiyan (Hindi) |
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Author: | Sahir Ludhianavi |
Publisher: | Rajpal & Sons |
ISBN: | 9789386534668 |
SKU: | BK0449756 |
EAN: | 9789386534668 |
Number Of Pages: | 130 pages |
Language: | Hindi |
Place of Publication: | India |
Binding: | Paperback |
Release date: | 11 June 2019 |